सेवा में
श्रीमान अध्यक्ष महोदय
राष्ट्रीय मानवाधिकार आयोग नई दिल्ली
विषय:- झारखंड के गढ़वा जिले के टंडवा मोहल्ले निवासी धर्मेंद्र कुमार को अपोलो के डॉक्टर कुमकुम द्वारा गलत इलाज कर दोनों पैर खराब कर देने के बाद स्थानिय उपायुक्त के साथ मुख्यमंत्री, स्वास्थ्य मंत्री से न्याय की गुहार लगाने के बाद भी कोई कार्यवाही नही होने के संबंध में
महोदय
हम आपका ध्यान झारखंड के गढ़वा जिले के टंडवा प्रखंड के गढ़वा थाना क्षेत्र वार्ड नंबर 18 निवासी धर्मेंद्र कुमार पिता प्रेमचंद मालाकार की ओर आकृष्ट कराना चाहेंगे। जो मामूली रोग से ग्रसित होने के बाद राज्य के आपोोलो में अपना इलाज करवाए जहा डाक्टर कुमकुम के गलत इलाज से उनका दोनों पैर खराब हो गया। जिसके बाद वो कही भी आने जाने में असमर्थ हो गए। इस मामले में उन्होंने स्थानीय उपायुक्त से न्याय की गुहार लगाई जहा उपायुक्त ने कार्यवाही का अस्वाशन दिया पर कोई कार्यवाही नही हुआ। उन्होंने आगे मुख्यमंत्री, स्वास्थ्य मंत्री झारखंड सरकार के पास भी न्याय की गुहार लगा चुके है बावजूद कोई कार्यवाही नही हो पा रहा है। अब हालात यह है कि वह 24 घंटे बेड पर ही पड़े रहते है। यह ख़बर दैनिक अख़बार भास्कर में दिनांक 29 मई 2018 को प्रकाशित किया है जिसका लिंकhttps://m.bhaskar.com/jharkhand/garhwa/news/latest-garhwa-news-023502-1821608.html?ref=whtp
संलग्न है
अतः महोदय से नम्र निवेदन है कि उक्त मामले में न्यायिक जांच करते हुए दोषी डाक्टर पर मुकदमा दर्ज किया जाए साथ ही पीड़ित परिवार को उचित मुआवजा भुगतान करवाया जावे।पुरे मामले में कार्यवाजो कई एक प्रति हमे भी उपलब्ध करवाया जावे।
भवदीय
ओंकार विश्वकर्मा
मानवाधिकार कार्यकर्ता
शहीद चौक डोमचांच कोडरमा झारखंड
संपर्क 9934520602
ख़बर विस्तार से
गढ़वा के टंडवा मोहल्ला वार्ड नंबर 18 के निवासी प्रेमचंद मालाकार का तृतीय पुत्र धर्मेंद्र कुमार मालाकार उम्र 25 वर्ष ने मुख्यमंत्री जनसंवाद में आवेदन देकर अपोलो रांची के चिकित्सकों पर रीढ़ की हड्डी के ऑपरेशन में लापरवाही बरतने एवं गलत ऑपरेशन से दोनों पैर से अपाहिज हो जाने की शिकायत की है। धर्मेंद्र मालाकार ने दैनिक भास्कर को बताया कि उसकी रीढ़ टेढ़ी हो रही थी, इसको लेकर उसे बराबर रीड में परेशानी होती थी।
वर्ष 2005 में उसने अपोलो रांची में इसका चेकअप कराया था। चिकित्सक आरसी मिश्रा और डॉक्टर कुमकुम ने यह कह कर उसका ऑपरेशन किया था कि वह पूरी तरह से छह माह में ठीक हो जाएगा। शिकायत में धर्मेंद्र ने बताया कि इस ऑपरेशन में उस समय दो लाख लिए गए थे जबकि छह माह तक इलाज और दवा के रूप में तीन लाख तक वसूले लिए गए।
धर्मेंद्र ने बताया कि ऑपरेशन के बाद से ही उसके दोनों पैर पूरी तरह से बेकार हो गया। थोड़े ही दिनों में अपाहिज होकर बिस्तर पर आ गया। इस बात की शिकायत उक्त चिकित्सकों से करने पर चिकित्सकों ने बताया कि ऑपरेशन ठीक किया गया है सेट होने में थोड़ा समय लगेगा। जब ऑपरेशन के बाद भी धर्मेंद्र की स्थिति नहीं सुधरी तब चिकित्सकों ने यह कह कर टाल दिया कि ऑपरेशन तो ठीक किया गया था अब सेट नहीं हुआ तो हम क्या करें। धर्मेंद्र ने इस बात की शिकायत स्वास्थ्य मंत्री रामचंद्र चंद्रवंशी सहित जिले के उपायुक्तों सहित राज्य के आला अधिकारियों को भी आवेदन देकर उक्त चिकित्सकों पर कार्यवाही करते हुए उसे उचित मुआवजा देने की मांग की थी। लेकिन धर्मेंद्र की फरियाद को किसी ने नहीं सुनी। थक-हारकर धर्मेंद्र ने मुख्यमंत्री जनसंवाद में आवेदन देकर फरियाद की गुहार लगाई है। अपने आवेदन में धर्मेंद्र ने कहा है कि चिकित्सक के द्वारा एक चलते फिरते व्यक्ति को अपाहिज बना कर उसका जीवन नर्क बना दिया है।
पीड़त युवक धर्मेंद्र कुमार मालाकार।
दो उपायुक्तों ने दिया था कार्रवाई का आश्वासन
पीड़ित धर्मेंद्र कुमार मालाकार ने उपायुक्त मनीष रंजन और वी राजेश्वरी से मुलाकात कर इस बात की शिकायत की थी। जिस पर दोनों उपायुक्तों ने कहा था कि मामला बहुत ही गंभीर है और चिकित्सक की लापरवाही स्पष्ट दिखाई दे रही है। उपायुक्त ने आश्वासन दिया था कि वे जल्द ही इस पर कार्रवाई करते हुए चिकित्सकों को सजा दिलाने एवं पीड़ित को मुआवजा दिलाने का कार्य करेंगे। लेकिन अभी तक कहीं से कोई सकारात्मक पहल नहीं दिखाई पड़ रहा है।
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